पिछले दिनों बुंदेलखंड के कई क्षेत्रों जैसे बांदा, छतरपुर, निवाड़ी, में भारी बारिश होने के कारण किसानों की मेहनत की फसलें पूरी तरह बर्बाद हो चुकी है। पहले बिन मौसम बरसात हुई और फिर ओले भी पड़े। टीकमगढ़ जिले के पास एक जिला पड़ता है, निवाड़ी जिला। जिले प्रथ्वीपुर तहसील के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत मड़िया के किसान गोविंद दास अहिरवार ने खबर लहरिया को बताया कि उनकी फसल बारिश और ओले से नष्ट हो चुकी है। वह कहते हैं जिसका खेत है उसे तो मुआवज़ा मिल जाएगा लेकिन वह लागत लगाकर खेती करते हैं इसलिए उन्हें मुआवज़ा भी नहीं मिल पायेगा। अब उनके सामने परिवार के भरण-पोषण का सवाल है।
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गांव मड़िया हलका के पटवारी भगवत सिंह दांगी ने कहा कि जिसका भी नुकसान हुआ है उसे शासन के निर्देशानुसार मुआवजा दिया जाएगा। वहीं तहसीलदार का कहना है कि पांच-पांच लोगों की टीम गठित करके सर्वे कराया जा रहा है। शासन के निर्देश अनुसार सहायता राशि मिलती है वह लोगों को ज़रूर दी जाएगी जिससे किसान अपने बच्चों का भरण पोषण कर सकें।
वहीं बांदा जिले की बात की जाए तो किसानों की चना, मसूर आदि की खेती का नुकसान हो चुका है। किसान किसी तरह से अपनी फसलों को बचाने की कोशिश कर रहा है लेकिन लगातार होती बारिश में यह भी संभव नहीं हो पा रहा। जिस किसान के पास फसल बीमा है उन्हें तो भरपाई मिल जाएगी और जो छोटे-मोटे किसान फसल बीमा नहीं करवा सकते या नहीं है तो उनका क्या? किसानों द्वारा सरकार से निवेदन किया जा रहा है कि किसानों के लिए बराबर लाभ दिया जाए।
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