खबर लहरिया Blog चित्रकूट : गौशाला ना होने से अन्ना जानवरों ने की, किसानों की फसलें बर्बाद

चित्रकूट : गौशाला ना होने से अन्ना जानवरों ने की, किसानों की फसलें बर्बाद

जिला चित्रकूट ब्लॉक माऊ गांव कोपा के किसान आवारा जानवरों से काफ़ी परेशान हैं। आए दिन जानवर उनकी फसलों को बर्बाद कर देते हैं, जिससे उन्हें काफ़ी नुकसान होता है। यूं तो सरकार ने गौशाला बनाने के नाम पर काग़ज़ी तौर काफ़ी बजट रखा है। लेकिन ज़मीनी सच यह है कि कोपा गांव में आवारा जानवरों के रहने के लिए अभी तक एक भी गौशाला नहीं बनाई गयी है। 

आवारा जानवर से परेशान किसानों ने बयां की परेशानी

बड़का मटियारा गांव के किसान कमलेश कहते हैं कि गैशाला का सारा बजट प्रधान हड़प कर लेते हैं। वहीं गायें उनकी सारी फसलें चर जाती हैं। तार लगाकर घेरने के बाद भी जानवर घेराव से निकल जाते हैं। रातभर ठंड में खेत की रखवाली करने की वजह से उन्हें ठंड भी लग जाती है। फिर दवाई सब का खर्चा अलग से करना पड़ता है। उनकी सरकार से मांग है कि गौशाला की व्यवस्था की जाए और प्रधानों को आदेश दिया जाए कि वह गायों को प्रबंध करके रखे ताकि किसानों को मुश्किल ना हो। वह कृषि में विकास करना चाहते हैं लेकिन गायों के फसल चरने के बाद उनके पास कुछ नहीं बचता है। 

किसान शरदचन्द्र भूषण (साभार – खबर लहरिया)

किसान शरदचन्द्र भूषण का कहना है प्रधान खेतों की रखवाली और आवारा जानवरों को रोकने के लिए कुछ नहीं करते। जो जायज़ ज़मीन गौशाला के लिए रखी गयी है वहां प्रधान द्वारा फाटक बनाया गया है। वह कहते हैं कि प्रधान बंजर जमीन पर गौशाला नहीं बनवाते और किसानों की उपजाऊ ज़मीन गौशाला बनाने के लिए मांगी जाती है। जिसकी वजह से गांव में गौशाला नहीं बन पाती।

Anna animals were destroyed due to lack of cowshed, crops of farmers were wasted

महिला किसान (साभार – खबर लहरिया)

गांव की ही महिला किसान का कहना है कि वैसे भी खेती में जोताई, बुआई में काफ़ी पैसा लगता है और फिर जब फसल अच्छी नहीं होती या नहीं बिक पाती तो और भी परेशानी होती है। ऊपर से गायें उनकी सारी फसल चर जाती है। वह कहती हैं कि जो किसान रातदिन अपने खेत की रखवाली नहीं कर पाता, उसकी सारी फसल जानवर बर्बाद कर देते हैं। जब खेती ही नहीं रहेगी तो व्यक्ति क्या खाएगा। वह कहती हैं कि उनके आसपास कहीं भी गौशाला नहीं है। गरीब की आवाज़ कौन सुनता है। 

किसान ननका प्रसाद (साभार – खबर लहरिया)

किसान ननका प्रसाद कहते हैं पहले जो गौशाला बनी थी, उसे प्रधान द्वारा हटा दिया गया था। गांव में किसी भी समस्या की सुनवाई तक नहीं की जाती। जब भी प्रधान से गौशाला बनाने की बात की जाती है तो जवाब में यही कहा जाता है कि गौशाला बनवाने के लिए ज़मीन ही नहीं है। वह कहते हैं कि गाय उनका सारा धान, गेहूं चर गए, जिसकी वजह से उन्हें चार बीघा का भी नुकसान हुआ है। 

गांव के प्रधान ने कहा ज़मीन ही नहीं तो बजट कैसा

कोपा गांव की प्रधान शांति देवी के पति भोला का कहना है कि जो गौशाला पहले बनाई गई थी, वो बड़का मटियारा के पूर्व में बनाई गयी थी और वह किसी और ग्रामसभा की थी। कोपा गांव में कोई भी