लखनऊ और मुज़फ्फरनगर, उत्तर प्रदेश। बढ़ती ठंड में राहत कैंपों में रह रहे लोगों की समस्याएं खत्म नहीं हुई हैं। पिछले हफ्ते कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के मुज़फ्फरनगर दौरे के बाद से ही पूरा मामला राजनैतिक बन गया है, खासकर तब जब 24 दिसंबर को समाजवादी पार्टी नेता मुलायम सिंह यादव ने आरोप लगाया कि जो लोग कैंप में रहे हैं वह दंगों से प्रभावित लोग हैं ही नहीं।
निजी संस्था के साथ काम कर रहे वकील असकरी नकवी ने बताया कि मुज़फ्फरनगर और शामली जिलों में अभी भी लगभग बारह हज़ार लोग राहत कैंपों में रह रहे हैं। बढ़ती ठंड और खस्ता स्वास्थ्य सेवाओं के चलते कम से कम सोलह लोग जिनमें अधिकतर छोटे बच्चे हैं, बीमारियों के कारण मर चुके हैं। केवल निजी डाक्टर और संस्थाओं की मदद से कैंप के लोगों को दवाएं और इलाज मिल रहा है।
मुज़फ्फरनगर पर नज़र – मुलायम सिंह पर उठी उंगलियां
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