5 सितंबर को प्रियंका चोपड़ा की फिल्म ‘मैरी कौम’ रिलीज़ होने वाली है। अभी से ही फिल्म चर्चित है क्योंकि प्रियंका चोपड़ा को पहली बार एक खिलाड़ी की भूमिका निभाते देखने वाले हैं।
फिल्म पूर्वोत्तर भारत के मनीपुर राज्य की मैरी कौम के संघर्ष और सफलता के बारे में है। मैरी कौम अंतरराष्ट्रीय स्तर की बौक्सर (मुक्केबाज़) हैं। प्रियंका चोपड़ा को इस किरदार को निभाने के लिए महीनों तक कड़ी ट्रेनिंग करनी पड़ी थी। यहां तक कि फिल्म में बौक्सिंग मैच की शूटिंग के दौरान उन्हें असल में चोट भी आई थी। चोपड़ा को नए रूप में देखने के लिए दर्शक बेताब हैं।
इकत्तीस साल की मैरी कौम का जन्म मणिपुर राज्य के चुराचांदपुर जि़ले में 1 मार्च 1983 में हुआ था। गरीब किसान के घर पैदा हुई कौम ने साल 2000 में बौक्सर बनने की ठानी। इसके बाद कौम को एक के बाद एक कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में जीत हासिल हुई। 2012 में कौम ने खेल की सबसे बड़ी प्रतियोगिता – ओलिम्पिक्स में तीसरा स्थान पाकर कांस्य पदक जीता। वह अपने परिवार के साथ मनीपुर की राजधानी इम्फाल में रहती हैं और लड़कियों के लिए खास फाइट क्लब चलाती हैं जहां लड़कियों को आत्मबचाव सिखाया जाता है।