खबर लहरिया बुंदेलखंड न होहे सुनवाई तो करबी अनशन

न होहे सुनवाई तो करबी अनशन

एस.डी.एम. खा दई दरखास

एस.डी.एम. खा दई दरखास

जिला महोबा। एते के दर्जनन किसानन की जमीन अर्जुन सहायक परियोजना बांध के डूब क्षेत्र में चली गई हे। जीखी वार्षिकी पाये खे लाने किसान सिंचाई विभाग ओर उच्चअधिकारी डी.एम. ओर एस.डी.एम. चक्कर लगाउत हे। ईखी दरखास 19 अगस्त 2014 खा महोबा तहसील में एस.डी.एम. खा दरखास दई हे।
सीताराम, प्रभादेवी ओर बद्रीसिंह ने बताओ कि 3 सितम्बर 2010 में शासन के एते से नियम आओ हतो कि भूमिहीन किसान खा पांच साल तक वित्तीय सहायता के रूप में बराबर मजदूरी दई जेहे। हमें एकऊ साल की मजदूरी नई मिली हे। घनश्याम, बिन्दू, जवाहर ओर शान्ति ने बताओ कि हमाये एकऊ जमीन नई बची हे सब डूब क्षेत्र मे चली गई हे। हम भूमहीन किसान हो गए हंे। हमने आपन भूमहीन को प्रमाण पत्र भी बनवा के सिंचाई विभाग में दओ हे। हमाई गरीबन की कछू सुनवाई नई होत हे। रंजीत कुमार भूरा ओर संदीप कुमार ने कहो कि आपन वार्षिकी पायें खे लाने हमने 19 अगस्त 2014 खा महोबा तहसील दिवस में दरखास दई हे। अगर हमाई सुनवाई दस दिन में न हो हे तो हम 1 सितम्बर 2014 खा तहसील में अनशन करें खा मजबूर हो जेहे।
सिंचाई विभाग के अधिषासी अभियन्ता हश्चिन्द्र ने कहो कि पहले वार्षिकी देय को कोनऊ नियम न हतो। जा नियम बाद में लागू भओ हे। जीसे बाद के किसानन खा वार्षिकी मिलत हे। ई किसान को वार्षिकी न मिले पे हाई कोर्ट में मुकदमा चलत हे। जभे ओते से कोनऊ आदेश आहे तभई फेसला होहे की वार्षिकी दई जेहे की नईं।