जिला चित्रकूट, ब्लाक मानिकपुर, गांव छेरिहा खुर्द । हिंया के सुशीला का मनसवा सुशील कुमार चार साल से खाना खर्चा नहीं देत हवैं। खाना खर्चा का एक साल से मुकदमा लड़त हवै।
सुशीला आपन बीती कुछ इनतान बतावत हवै-” मोर शादी मध्य प्रदेश, जिला सतना, कस्बा मझगंवा मा छह साल पहिले सुशील कुमार के साथै भे रहै। मनसवा शुरू से ही मारपीट करत रहै। मोर बाप चार साल पहिले मर गा रहै। मैं अपने महतारी का देखैं खातिर कत्तौ कत्तौ मइके आ जात रहौं अउर महतारी के लगे होइके चली जात रहौं तौ मनसवा लाठी डंडा से मारत रहै अउर घर मा नहीं घुसै देत रहै। या कारन मनसवा से चार साल से अलग रहैं लाग हौं। मोरे दुइ साल के छोट से लड़की भी हवै। मनसवा एकौ दरकी न तौ लड़की का देखै खातिर आवा अउर न तौ आजौ तक लेवावैं खातिर आवा हवै। यहै से मनसवा के ऊपर एक साल से खाना खर्चा का मुकदमा लगा दीने हौं, पै अबै तक खाना खर्चा नहीं देत आय।”
मनसवा सुशील कुमार का कहब हवै कि मैं वहिसे तलाक लें चाहत हौं। वहिका अपने साथै न रखिहौं। काहे से वा अपने मन का काम करत हवै।
मानिकपुर के वकील संतोष कुमार गुप्ता का कहब हवै कि सुशील कुमार के ऊपर 125 के तहत खना खर्चा का मुकदमा लाग हवै। मुकदमा जीतैं के बाद पूर एक साल का खाना खर्चा सुशीला का देवावा जई। वा परेशान न होय।
खाना खर्चा खातिर लगाइस मुकदमा
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