एक दशक से गोवंश की इतनी बुरी स्थिति है कि देख कर रोना आ रहा है। सरकार ने गोवंश की सुरक्षा के लिए वादे तो बड़े-बड़े किए थे लेकिन सुरक्षा नहीं, गौ हत्या हो रही है। हर रोज गोवंश कि कहीं एक्सीडेंट से मौत हो रही है, तो कहीं गौशालाओं के अंदर भूख से मौत हो रही है। इतना ही नहीं जानबूझकर लोग गोवंश को मारकर छुपाने का काम भी बड़ी आसानी से कर देते हैं। इस तरह से दर्दनाक हो रही गौ हत्या अब देखी नहीं जा रही। अरे, भाई! थोड़ा तो डरिए पाप लगेगा कहते हैं ना कि अगर एक गाय गलती से भी मर जाती है, तो गंगा नहाना पड़ता है, कन्या और ब्राह्मण खिलाने पड़ते हैं, यहां तो सैकड़ों गायें मर रही हैं लेकिन कुछ भी नहीं हो रहा। तो किस काम के वादे और किस काम का गोवंश के नाम पर खर्च होने वाला करोड़ों रुपया?
ये भी देखें – गौशाला क्यों बन रही हैं मौतशाला, देखिये द कविता शो
अभी हाल ही में शनिवार को बांदा नरैनी मार्ग में अज्ञात वाहन से तीन गौवंश की मौत हो गई। इसी तरह पिछले साल रगौली भटपुरा में बने एक गौशाला में लगभग दस गायों की मौत भूख से हुई थी और उन्हें वहीं पर गड्ढा खोदकर दफनाया गया था। जब मैं इसकी कवरेज के लिए गई थी, सुनसान रास्ता था। जंगल में बनी गौशाला में कोई भी नज़र नहीं आ रहा था। जब मैं पहुंची तो कार्यकर्ताओं द्वारा दरवाज़े नहीं खोले जा रहे थे,ताकि उनकी कोई चोरी ना पकड़ ले। किसी तरह मैंने दरवाजा खुलवाया और अंदर गई तो कैमरा चलाने के लिए मना किया जा रहा था। फिर भी मैंने उनको बातों में टहलाया और अपना काम किया लेकिन मेरे अंदर भी कहीं ना कहीं डर था कि सुनसान है। मैं अंदर हूं दरवाजा लगा लिया है। कुछ हो ना जाए पर मैंने उस डर को फेस किया और बाहर नहीं आने दिया।
ये भी देखें – छतरपुर: मुस्लिम महिला चला रही गौशाला
सोनू करवरिया विश्व हिंदू महा संघ गौरक्षा समिति के नरैनी तहसील अध्यक्ष का कहना है कि इस समय अन्ना जानवर सड़कों पर बहुत घूम रहे हैं। इसको लेकर उन्होंने उच्च अधिकारियों से कहा है और डीएम के साथ 22 अगस्त को मीटिंग हुई है। एक महीने के अंदर सभी गोवंश को सुरक्षित गौशालाओं में रखने के लिए कहा गया है। वह समिति की तहसील अध्यक्ष होने के नाते समय-समय पर गौशालाओं में जाते हैं,देखते हैं। सड़कों पर भी भी जो अन्ना गोवंश के साथ घटनाएं होती हैं उन्हें भी देखते हैं। कोई ऐसा मामला आता है तो शिकायत भी करते हैं और कार्यवाही भी होती है। जैसे की 2021 में जो पहाड़ी खेड़ा में गौवंश को दफनाया गया था उसको लेकर के भी काफी हंगामा मचा था। प्रदर्शन हुआ था और दो अधिकारी निलंबित भी हुए थे तो इस तरह से वह बराबर कार्य करते रहते हैं और यही कोशिश होती है कि गोवंश सुरक्षित रहे।
‘यदि आप हमको सपोर्ट करना चाहते है तो हमारी ग्रामीण नारीवादी स्वतंत्र पत्रकारिता का समर्थन करें और हमारे प्रोडक्ट KL हटके का सब्सक्रिप्शन लें’