खबर लहरिया Blog PTI Fact Check: बीजेपी को वोट न देने पर दलित समुदाय के लोगों की पिटाई का फर्ज़ी वीडियो वायरल

PTI Fact Check: बीजेपी को वोट न देने पर दलित समुदाय के लोगों की पिटाई का फर्ज़ी वीडियो वायरल

Fact Check by PTI

पीटीआई फैक्ट चेक: बीजेपी को वोट न देने पर कार्यकर्ताओं द्वारा दलित समुदाय के लोगों की पिटाई करने का दावा करता यह सोशल मीडिया पोस्ट फर्जी है

पीटीआई फैक्ट चेक : लोकसभा चुनाव के पांचवें चरण में छह राज्यों और दो केंद्र शासित प्रदेशों की 49 संसदीय सीटों के लिए मतदान 20 मई को संपन्न हुआ। इस बीच सोशल मीडिया पर 13 सेकेंड का एक वीडियो क्लिप वायरल हो रहा है। इसे शेयर कर दावा किया जा रहा है कि उत्तर प्रदेश के कौशाम्बी के मानिकपुर मीरगढ़वा में बीजेपी को वोट न देने के कारण कार्यकर्ताओं ने दलित समुदाय के लोगों की पिटाई कर दी।

पीटीआई फैक्ट चेक डेस्क ने वायरल दावे की पड़ताल की, जिसमें यह फर्जी निकला। दरअसल, प्रतापगढ़ जिले के मानिकपुर थाना क्षेत्र स्थित एक गांव में बिजली के खंभे पर पेड़ की टहनी गिरने से बिजली का तार टूट गया था, जिसे लेकर दो पक्षों में विवाद हुआ। यूजर्स अब इसी घटना के सीसीटवी फुटेज को फर्जी दावे के साथ सोशल मीडिया पर शेयर कर रहे हैं।

दावा : 

फेसबुक यूजर राधेश्याम दरोगा ने 13 सेकेंड का क्लिप शेयर कर दावा किया कि बीजेपी को वोट न देने पर कार्यकर्ताओं ने दलित समुदाय के लोगों की बेरहमी से पिटाई की।

20 मई को वीडियो शेयर करते हुए यूजर ने लिखा, “कौशाम्बी के मानिकपुर मीरगढ़वा में BJP को वोट न देने पर बौखलाए भाजपा कार्यकर्ताओं ने दलित समाज के लोगों की बेरहमी से पिटाई कर दी। बाबा साहब के वंशजों के साथ भाजपाइयों का ये व्यवहार अभी से इस तरह का है अगर भाजपा एक बार फिर सत्ता में आ गई तो संविधान को खत्म कर दलित समाज के लोगों से वोट का अधिकार ही छीन लेगी! भाजपा हटाओ, संविधान बचाओ।” पोस्ट का लिंकआर्काइव लिंक और स्क्रीनशॉट यहां देखें।

पड़ताल :

डेस्क ने पड़ताल शुरू करते हुए सबसे पहले वीडियो के कीफ्रेम्स को गूगल लेंस के जरिए रिवर्स सर्च किया। इस दौरान हमें यह वीडियो उत्तर प्रदेश कांग्रेस और भारत समाचार के सोशल मीडिया अकाउंट पर भी मिला। इसमें बताया गया कि सपा प्रत्याशी ने मामले की शिकायत चुनाव आयोग से की। पोस्ट का लिंक यहां और यहां क्लिक कर देखें।

पड़ताल के दौरान हमें न्यूज चैनल भारत समाचार की ‘एक्स’ पोस्ट पर प्रतापगढ़ पुलिस की प्रतिक्रिया मिली, जिसमें उन्होंने वायरल वीडियो को फर्जी बताया तथा इस संबंध में स्पष्टीकरण जारी किया।

पुलिस के मुताबिक, मामला जनपद प्रतापगढ़ के थाना मानिकपुर क्षेत्रान्तर्गत ग्राम रम्मा का पुरवा से संबंधित है। इसमें बताया गया कि 18 मई की शाम में ठेकेदार द्वारा प्रथम पक्ष से खरीदे गये पेड़ को काटा गया था, जिसकी एक डाल ग्राम रम्मा का पुरवा निवासी द्वितीय पक्ष के घर के सामने स्थित बिजली के खंभे पर गिर गया, जिसकी बिजली का तार जमीन पर टूटकर गिर गया। दूसरे पक्ष द्वारा बिजली का तार ठीक कराने हेतु कहे जाने पर दोनों पक्षों के बीच विवाद हो गया। इसका चुनाव से कोई लेना-देना नहीं है। प्रतापगढ़ पुलिस का स्पष्टीकरण यहां क्लिक कर देखें।

इस संबंध में प्रतापगढ़ पुलिस के अपर पुलिस अधीक्षक (पश्चिम) संजय राय ने सोशल मीडिया पर एक बाइट भी साझा की। उन्होंने कहा, “ थाना मानिकपुर पर दिनांक 18 मई को ठेकेदार अरविंद पटेल एवं राम नरेश के बीच में तीन पेड़ काटने का सौदा हुआ था, जिसमें दो पेड़ कट चुके थे और एक गूलर का पेड़ कट कर पास में खंभे के तार पर गिर गया, तार टूट गया एवं खंभा क्षतिग्रस्त हो गया। खंभा उदय प्रकाश शुक्ला के घर के पास था। अरविंद ठेकेदार ने रामधीन सोनकर (लकड़ी काटने वाली मशीन का संचालक) को बुलवाया और इसमें यह बात तय हुआ है कि लाइनमैन को बुलाकर उसको 10 हजार रुपये देकर तार और खंभा ठीक करवाया जाएगा। आपसी समझौते के बाद दोनों पक्ष चले गए। आज दिनांक 20 मई को उदय प्रकाश शुक्ला, रामधीन सोनकर के घर के पास कथा करने गये थे। उसी बात को लेकर आपस में फिर से कहासुनी और मारपीट हुई। दोनों पक्षों को थाने पर लाया गया और कार्रवाई की जा रही है। किसी को मतदान से नहीं रोका गया है। मतदान से रोके जाने का दावा गलत है।” पोस्ट का लिंक यहां क्लिक कर देखें।

पड़ताल को आगे बढ़ाते हुए डेस्क ने संबंधित कीवर्ड्स की मदद से इससे जुड़ी मीडिया रिपोर्ट्स ढूंढने की कोशिश की। इस दौरान हमें लाइव हिंदुस्तान की वेबसाइट पर एक खबर मिली, जिसमें बताया गया कि मानिकपुर पंचायत में गूलर का पेड़ काटने के दौरान बिजली का खंभा टूटने को लेकर दो पक्षों में मारपीट हो गयी। रिपोर्ट में पुलिस के हवाले से बताया गया है कि इसमें कोई चुनावी एंगल नहीं है। इसे फर्जी तरीके से फैलाया जा रहा है। रिपोर्ट को यहां क्लिक कर पढ़ें।

हमारी अब तक की पड़ताल से यह साफ है कि सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे वीडियो का चुनाव से कोई संबंध नहीं है। यह वीडियो बिजली के खंभे पर पेड़ की टहनी गिरने से बिजली का तार टूटने को लेकर दो पक्षों के बीच हुए विवाद से जुड़ा है।

दावा

कौशाम्बी के मानिकपुर मीरगढ़वा में BJP को वोट न देने पर बौखलाए भाजपा कार्यकर्ताओं ने दलित समाज के लोगों की बेरहमी से पिटाई कर दी।

तथ्य

पीटीआई फैक्ट चेक डेस्क की पड़ताल में वायरल दावा फर्जी निकला।

निष्कर्ष

कुछ लोगों द्वारा घर में घुसकर मारपीट करने का एक वीडियो शेयर कर दावा किया जा रहा है कि कौशाम्बी के मानिकपुर मीरगढ़वा में BJP को वोट न देने पर बौखलाए भाजपा कार्यकर्ताओं ने दलित समाज के लोगों की बेरहमी से पिटाई कर दी। पीटीआई फैक्ट चेक डेस्क की पड़ताल में वायरल दावा फर्जी निकला। डेस्क ने अपनी पड़ताल में पाया कि यह वीडियो बिजली के खंभे पर पेड़ की टहनी गिरने से बिजली का तार टूटने को लेकर दो पक्षों के बीच हुए विवाद से जुड़ा है। इसका चुनाव से कोई संबंध नहीं है।

 

(This story was originally published by PTI and republished by Khabar Lahariya as part of the Shakti Collective.)

 

यदि आप हमको सपोर्ट करना चाहते है तो हमारी ग्रामीण नारीवादी स्वतंत्र पत्रकारिता का समर्थन करें और हमारे प्रोडक्ट KL हटके का सब्सक्रिप्शन लें’

If you want to support  our rural fearless feminist Journalism, subscribe to our  premium product KL Hatke