उत्तर प्रदेश बांदा जिला के जसपुरा ब्लॉक के अमारा गांव के लोगों का कहना है कि उनकी ज़मीन पर अवैध रूप से पट्टा ( ज़मींदार की ज़मीन जोतने–बोने के लिए दिया जानेवाला लेख्य) किए जा रहे हैं। लोगों का आरोप है कि लेखपाल और गांव का प्रधान राजा बाबू सिंह मिलकर अवैध रूप से पट्टा देने का काम कर रहे हैं।
लोगों का कहना कि जिसके पास 20 से 25 बीघा जमीन है और जो पैसे वाले हैं, सिर्फ उन्हीं के नाम पर पट्टा किया जा रहा है। इसलिए लोगों की अधिकारियों से मांग है कि वह अवैध रूप से दिए जाने वाले पट्टे को रोकें और जो उसके पात्र हैं, सिर्फ उन्हें ही पट्टा दिया जाए। मामले की जांच के लिए लोगों ने पैलानी तहसील में जाकर ज्ञापन भी दिया है।
पैलानी तहसील के एस.डीएम राम कुमार ने ऑफ़ कैमरा बताया कि ज्ञापन उनके संज्ञान में आ गया है और तहसीलदार को भी उसके बारे में बता दिया गया है। तहसीलदार से पट्टे को रोकने को कहा गया। उन्होंने यह भी कहा कि पहले लोगों की पात्रता की जांच की जाएगी और फिर ही उन्हें पट्टा दिया जाएगा। वहीं प्रधान राजा बाबू सिंह का कहना है कि उन पर गलत आरोप लगाया गया है।
वह सिर्फ प्रशासन के आदेश के अनुसार ही काम कर रहे हैं। अगर प्रधान और लेखपाल द्वारा नियम के अनुसार पट्टा दिया जा रहा होता तो गांव के लोग उन पर इल्ज़ाम नहीं लगाते। हालांकि, जांच के बाद सच और झूठ सामने आ ही जाएगा।