खबर लहरिया जवानी दीवानी भारत का मंगल तक पहुंचने का सफर “मिशन मंगल” में क्या था खास “आओ थोड़ा फिल्मी हो जाए” में

भारत का मंगल तक पहुंचने का सफर “मिशन मंगल” में क्या था खास “आओ थोड़ा फिल्मी हो जाए” में

15 अगस्त को रिलीज़ हुई फिल्म मिशन मंगल की. जैसा कि नाम से ज़ाहिर है कि ये फिल्म इंडिया के मंगल मिशन पर आधारित है. मंगलयान 5 नवंबर 2013 को लॉन्च किया गया था और 24 सितंबर 2014 से मंगल ग्रह के चक्कर लगा रहा है. इस मिशन के बाद भारत दुनिया का ऐसा चौथा और एशिया का पहला ऐसा देश बन गया था जो मंगल गृह तक पहुंचा है. और तो और पहला ऐसा देश जिसने पहली ही कोशिस में कामयाबी हासिल की. ये तो थी मंगल यान की बातें। अगर हम फिल्म की बात करें तो डायरेक्टर जगन शक्ति की इस फिल्म में अक्षय कुमार के साथ विद्या बालन, सोनाक्षी सिन्हा, तापसी पन्नू, कीर्ति कुल्हारी, शरमन जोशी, नित्या मेनन, संजय कपूर और जीशान अयूब भी अहम भूमिकाओं में हैं. फिल्म में मंगलयान के साथ-साथ उसके साईटिस्ट के निजी जिंदगी की जद्दो जहद को भी बखूबी बताया गया है. फिल्म की कहानी साल 2010 से शुरू होती जब तारा यानि विद्या बालन के साथ मिलकर राकेश यानी के अक्षय कुमार एक जीएसएलवी सी-39 नामक मिशन के अंतर्गत एक रॉकेट लॉन्च करता है, लेकिन दुर्भाग्य से राकेश का यह मिशन फैल हो जाता है. इसके बाद राकेश को मार्स प्रॉजेक्ट वाले विभाग में भेज दिया जाता है. लेकिन तारा के दिमाग में एक बार फिर मिशन मंगल का आइडिया आता है. इस आइडिया को लेकर तारा और राकेश इसरो के हेड से मिलते हैं और उन्हें इस मिशन की पूरी बात बताते हैं, लेकिन उनके सामने सबसे बड़ी चुनौती है बजट का. फिर भी राकेश की जिद के आगे इसरो के हेड विक्रम गोखले उसे नौसिखिए साइंटिस्टों की टीम देते हैं. अब इस टीम के साथ राकेश कैसे मिशन मंगल को सफल बना पाता है, इसको जानो के लिए आपको फिल्म देखनी होगी। ऐक्टिंग की अगर बात करें तो कोई किसी से काम नहीं है लेकिन विद्या ने अपनी अलग जगह बनाई है. कई बार हम किसी चीज की तारीफ़ या बुराई तो कर देते है लईकिन उसे बनाने वाले की जिनगी उनकी चुनौतियों को नज़रअंदाज कर देते है. जिसे इस फिल्म में बखूबी दिखाया गया है. हमारी तरफ से इस फिल्म को 5 में से 3. 5 स्टार देते है. आपको ये एपिसोड कैसा लगा हमें जरूर बताएं। हमारे चैनल को लाइक सब्स्क्राइव और वीडियो को सेयर जरूर करें