छत्तरपुर जिले के ग्राम देरी गाँव के लोगों की शिकायत है कि उनके यहां रोज़ाना ग्राम पंचायत नहीं खुलती। जिसकी वजह से उन्हें अपने तकलीफों के समाधान के लिए छत्तरपुर जाना पड़ता है। छत्तरपुर, गाँव के लोगों के लिए काफी दूर पड़ता है। जब हमने यहां रहने वाले लोगों से पूछा तो उनका कहना था कि ग्राम पंचायत में सिर्फ बच्चे खेलकूद करते दिखाई देते हैं।
लेकिन पंचायत कभी नहीं खुलती और ना ही उसकी सफ़ाई की जाती है। कई लोगों का कहना है कि वह अपनी शिकायत बताने कहीं नहीं जाते क्यूंकि जाने पर भी उनकी समस्यांओ का हल नहीं होता। अगर उन्हें ज़्यादा तकलीफ होती है तो वह बड़े अधिकारीयों से बात करने चलने जाते हैं।
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लोगों का कहना है कि सरपंच किसी की बात नहीं सुनता। वहीं जब गाँव के सरपंच से इस मामले के बारे में पूछा गया तो उसका कहना था कि कुछ निजी कारणों की वजह से सिर्फ कुछ समय के लिए ग्राम पंचायत को बंद किया गया है। जैसे ही उनके काम खत्म होंगे, वह पंचायत गाँव के लोगों के लिए खोल देंगे। वहीं जब हमने जनपद पंचयत सैयद मज़हर अली से फोन पर बात की तो उनका कहना था कि वह मामले को लेकर जांच-पड़ताल करवाएंगे और अगर इसके बाद भी पंचायत नहीं खुलती तो कार्यवाही भी करवाई जायेगी।
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यहां सवाल यह है कि जब सरपंच को इसलिए ही चुना गया है कि वह लोगों की समस्याओं को सुनकर उनका निपटारा करे। ऐसे में सरपंच द्वारा निजी कारणों का हवाला देना हज़म नहीं होता। क्या सरपंच पर इस बात के लिए कार्यवाही नहीं होनी चाहिए ?