अयोध्या जिले के जय सिंह पुर निवासी थर्ड ब्लैक बेल्ट नीरज कुमार बच्चों को कराटे सिखाकर आत्मनिर्भर बना रहे हैं। 24 साल की उम्र में ही नीरज ने बड़ी उपलब्धि हासिल की है। आज वह खुद के बल पर पाँच एकेडमी चला रहे हैं जिसके वह कोच भी हैं।
नीरज कुमार ने सिर्फ अयोध्या में ही नहीं सपनों के शहर मुंबई से भी गोल्ड मेडल अपने नाम किया है उनका सपना है की गिनीज बुक में उनका नाम दर्ज हो।
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कराटे सीखने के फायदे
शरीर स्वस्थ रहता है।
बीमारियां पास नहीं आती।
शरीर फिट रहता है।
विषम परिस्थिति में अपनी सुरक्षा खुद कर सकते हैं।
कराटे ट्रेनर नीरज ने बताया कि कराटे 8 साल से 40 तक सीख सकते हैं। वह पूरी कोशिश कर रहे हैं की उनके आसपास के गांवों के बच्चे कराटे सीखें। इसलिए वह हर साल अप्रैल महीने में कैम्प लगाते हैं, जिसमें बच्चों को सेलेक्ट करते हैं। और उन्हें कराटे सिखाते हैं।
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