15 अप्रैल 2023 को रात के करीब 10 बजे जब आतीक अहमद और उनके भाई अशरफ अहमद को मेडिकल जांच के लिए अस्पताल ले जाया जा रहा था, उसी समय पुलिस की निगरानी होने के बावजूद तीन हमलवारों ने रिपोर्टर का रूप धारण किया हुआ था और उसी वक्त कैमरा के सामने अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ अहमद पर गोलियों की बौछार कर दी।
हाल ही में माफिया अतीक अहमद को कानपुर के पास पकड़ा गया था और अदालत ने उसे उम्र कैद की सजा भी सुनाई थी। आपको बता दें कि अतीक अहमद पहले लोक सभा संसद थे और उन पर कई नामी हत्या के केस भी दर्ज थे जिसके चलते वह काफी समय से अंडरग्राउंड रह रहे थे। अतीक अहमद की हत्या से दो दिन पहले उनके बेटे असद की प्रयागराज में गोली मारकर हत्या कर दी गयी थी। अतीक अहमद अपने बेटे के जनाज़े में भी शामिल नही हो पाए थे।
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समाचार पत्रों से मिल रही जानकारी के अनुसार तीन आरोपी मीडिया कर्मी बनकर आये और अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ अहमद पर गोलियों की बौछार कर दी। तीनों आरोपियों में लवलेश तिवारी जो की बांदा का निवासी है, सनी सिंह हमीरपुर और अरुण मौर्य कासगंज जिले का रहने वाला है। ऐसा कहा जा रहा है कि इन तीनों को अतीक अहमद और उनके भाई की हत्या के लिए सुपारी दी गई थी, जिसमें 10-10 लाख रुपए एडवांस के रूप में भी दिए जाने की बात सामने आई है।
माफ़िया और लोकसभा के पूर्व सदस्य, अतीक अहमद और उनके भाई अशरफ अहमद की पुलिस की मौजूदगी में बीच सड़क पर हुई हत्या से पूरी यूपी में सनसनी फ़ैल गई है। साथ ही लगभग 75 जिलों में धारा 144 लागू कर दिया गया है। इससे हमारी वर्तमान सरकार और पुलिस प्रशासन पर सवाल उठ रहा है कि आखिर कैसे पुलिस की मौजूदगी में इस घटना को अंजाम दिया गया।
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