जिला मुज़फ्फरनगर और शामली, उत्तर प्रदेश। जहां एक ओर सरकार की ओर से राहत संबन्धित अब भी कोई दखल नहीं है, वहीं दूसरी ओर एक विशेष जांच दल ने 3 फरवरी को इलाहाबाद हाई कोर्ट में दंगे फैलाने वाले बारह आरोपियों की ज़मानत को खारिज करने के लिए याचिका डाली है। चुनाव के पहले कई जिलों में नए अधिकारियों की नियुक्ति की गई, जिसमें दंगों में प्रभावित शामली जिले के डी.एम. प्रवीण कुमार सिंह का ट्रांसफर कर दिया गया है और अभी तक उनके स्थान पर किसी की नियुक्ति नहीं की गई है।
शामली में पिछले दो दिनों से बारिश के चलते ठंड फिर बढ़ी। इस बीच 5 फरवरी को दाभेरी खुर्द में लगे कैंप में ढाई साल के बच्चे की मौत हो गई। इससे पहले 28 जनवरी को एक छह वर्षीय लड़की की मौत ठंड से जिले के मलकपुरा कैंप में हुई थी।
मुज़फ्फरनगर और शामली में काम कर रहे स्थानीय कार्यकर्ताओं के अनुसार कैंप चलाने वाली कमेटियों के पास अब राशन और अन्य सुविधाएं खत्म होने को हैं। कई और संस्थाएं जो राहत कार्य में जुटी थीं वे भी अब खाना और राहत नहीं पहुंचा रही हैं। शाहपुर और जोला कैंपों में भी राहत कार्य बंद हो चुका है और लोग स्वयं ही व्यवस्था कर रहे हैं।