लखनऊ। राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (सरकारी आयोग जो बच्चों के हकों की सुरक्षा पर काम करता है) ने राज्य सरकार से दंगे प्रभावित इलाकों के बच्चों के हालातों पर रिपोर्ट की मांग की है।
सितंबर 2013 में पश्चिम उत्तर प्रदेश के चार जिलों में दंगों के बाद कई परिवारों को अपने घर छोड़ने पड़े थे। इस कारण बहुत से बच्चे स्कूली परीक्षा नहीं दे पाए थे। पूर्व जिला स्कूल इंस्पेक्टर (डी.आई.ओ.एस.) ने कहा था कि इन बच्चों की दोबारा परीक्षा होगी पर उनके ट्रांस्फर के बाद कोई परीक्षा नहीं रखी गई।
बाल शिक्षा अधिकार पर काम कर रहे अम्ब्रीश राय ने राज्य के शिक्षा बिभाग सचिव अशोक रंजन से इन बच्चों के भविष्य पर सवाल किया था। उनकी शिकायत के आधार पर आयोग ने सरकार से कारवाई की रिपोर्ट पेश करने को कहा है।
दंगे प्रभावित बच्चों का क्या?
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