खबर लहरिया मनोरंजन तैरना, साइकिलिंग, दौड़ – एक मुश्किल रेस के तीन पहलू

तैरना, साइकिलिंग, दौड़ – एक मुश्किल रेस के तीन पहलू

कहते हैं कि खिलाडि़यों में हुनर के अलावा जुनून होना चाहिए। शायद इसलिए हर साल दुनिया के कोने-कोने से लोग इतनी मुश्किल रेस में भाग लेते हैं जो शायद वे पूरी भी ना कर पाएं। महीनों की ट्रेनिंग के बाद भी आपका लक्ष्य होता है कि किसी तरह आप रेस पूरी कर लें।
ये अपने शरीर को एक हद तक आज़माने का तरीका है। ऐसी कई रेस हैं जो अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित की जाती हैं। इनमें से एक है ‘द आयरनमैन ट्रायएथ्लौन’ जो 19 जुलाई को हुई।

(फोटो साभार: fablefeed)

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ज़्यूरिक, स्विट्ज़रलैंड। यूरोप के स्विट्ज़रलैंड में हुई ‘आयरनमैन ट्रायएथ्लौन’ भारत के पचास वर्षीय मिलिन्द सोमन ने 19 जुलाई को कुल पंद्रह घंटे और उन्नीस मिनट में पूरी की। मिलिन्द सोमन को टी.वी. सीरियल ‘कैप्टन व्योम’ और नब्बे के दशक में कई गानों में और विज्ञापनों में देखा जा चुका है।

‘द आयरनमैन ट्रायएथ्लौन’
इस रेस में पहले चार किलोमीटर तैरना पड़ता है। फिर एक सौ अस्सी किलोमीटर लंबा साइकिल का सफर और अंत में बयालिस किलोमीटर की दौड़ लगानी होती है। ये तीनों काम करने के लिए हर प्रतियोगी को सत्रह घंटे दिए जाते हैं। जिसने सत्रह घंटे में पूरा नहीं किया वो वहीं रेस से बाहर हो जाएगा।

और भी हैं दिग्गज
इस रेस को और भी भारतीय पूरा कर चुके हैं। 2009 में सबसे पहले भारत की अनुराधा वैद्यनाथन ने इससे भी मुश्किल रेस ‘अल्ट्रामैन ट्रायएथ्लौन’ पूरी की थी
इसके बाद महाराष्ट्र के निशित बिनीवाले पहले भारतीय बने जिन्होंने ‘आयरनमैन ट्रायएथ्लौन’ 2013 में पूरी की। इस साल आनंद पाटिल, पृथ्वीराज पाटिल और हिरेन पटेल ने रेस पूरी की। साथ ही कौस्तब राडकर ने सिर्फ बारह घंटों में रेस पूरी की।