जिला वाराणसी, ब्लाक चोलापुर, चिरईगावं गावं सरायमोहाना, चमरहा, महावीर, चैबेपुर, मोहाव। सड़क चूड़ी के समय त हर मौसम में रहला लेकिन एक साल में हरी चूड़ी के बिक्री सावन में बहुत ज्यादा होला। इ चूड़ी हर महीना में दस रूपया दर्जन या आठ रूपया दर्जन मिलला। लेकिन सावन के महीना में चूड़ी पन्द्रह रूपया दर्जन हो गएल हव।
कुसुम, सावित्री, कान्ती, ललित इ लोगन के कहब हव कि यहां चूड़ी के दुकान केहु छह साल से त केहु आठ साल से करत हई। हर समय चूड़ी के दाम बढ़ल करला। लेकिन ज्यादा भाव सावन के चूड़ी के बढ़ जाला। पहिले यही चूड़ी के दाम पांच रूपया रहल। लेकिन पिछले तीन साल से अब यही चूड़ी के दाम पन्द्रह रूपया हो गएल हव। लेकिन ए समय सबसे ज्यादा दाम हरी चूड़ी के दाम बढ़ जाला। हमने के एक तोणा में सात रूपया बच जाला। जेतना मेहनत करल जाला ओतना कमाई हो जाला।
यही चूड़ी बेच के पान और परिवार के देखीला। अब कहा खेती बा कि हमने खेती करल जाई।
चूड़ी के बिक्री सावन में
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