बुन्देलखण्ड के सड़कन के हाल देखतै बनत हवै कत्तो गड्ढा हवैं तौ कत्तो डामर से मलहमपट्टी कीन जात हवैं। सरकार कहत हवै कि हर जघा के सड़क बनवा दीन गे हवैं। पै चित्रकूट जिला के कर्वी से मानिकपुर के बीच सड़क के हालत सड़क के हालत येत्ती ख़राब हवै कि साधन रोज पंचर होत हवै। पैदल मड़ई भी गिर के चोटा जात हवै। कर्वी से मानिकपुर के दूरी तीस किलोमीटर हवै। सड़क पहली बात तौ एक साधन बस निकरै का बनी है। ऊपर से ख़राब हवै।
दिन भर मा दसन हजार पैदल मड़ई अउर हजारन साधन निकरत हवैं। या सड़क से अधिकारी करमचारी भी निकरत हवैं पै सब आपन आंखी बंद कइके आवत जात हवैं। का इं अधिकारिन के गाड़ी सड़क मा नहीं फंसत आय-आय जउन उनका नही देखात? जबै विधानसभा चुनाव होय का रहै तौ 17 फरवरी का सड़क मा काम लाग रहै गिट्टी पड़ी रहै या कारन अउर दिक्कत मड़इन का होत हवै।
जइसेन चुनाव खतम भा वइसेन सड़क अधबनी ठप हवै अधिकारी अपने का बचावै खातिर तौ वा समय देखा दिहिन कि सड़क मा काम लाग हवै। पै सच्चाई देखौ तौ पता लागी कि सड़क वहिनतान हवै। मड़इन का आवै जाये मा बहुतै परेशानी उठावै का पड़त हवै। हिंया तक कि छोट-छोट बच्चा साइकिल से गिर जात हवैं। काहे से गिट्टी मा फिसल जात हवैं।
नेता मंत्री कउन तान के घटना का इन्तजार करत हवैं। कत्तौ सड़कन के हालत सुधरी कि नहीं का सरकार के लगे बजट नहीं आय सड़क बनवावै खातिर। सरकार के लगै जनता खातिर रुपिया नहीं चाहे उंई बिजली, पानी, सड़क , अस्पताल अउर स्कूल खातिर दर-दर भटकत रहत हवैं।
सरकार का जनता के सुध वोट के समय आवत हवै यहितान मऊ से कर्वी तक पचास किलोमीटर सड़क पिछले तीन साल से ख़राब पड़ी हवै कहै तौ राष्ट्रीय राजमार्ग हवै। जब साधन चलत हवै तौ मड़इन के हालत खराब कइ देत हवै। का इं सड़क न के हालत कउनौ का देखाई देत या यहिनतान मड़इन धक्का खात रहि हैं? सरकार कसत कहत हवै कि हर जघा के सड़क चमचमात हवै। तानेक पैदल हमरे चित्रकूट मा चलै तौ पता लागी कि कसत सड़क हवैं?
चुनाव के समय बनत रहैं सड़क चुनाव खतम तौ सड़क बनब बंद
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