जिला सीतामढ़ी, प्रखण्ड बथनाहा, पंचायत रूपलौ रूपहरा, गांव रूपौली। इहां लगभग पन्द्रह लोग के राषन कार्ड न हई। जेइ कारण उनका सब के राषन न मिलई छई। जेसे परिवार चलावे में बहुत परेषानी होइ छई।
इहां के लक्षिया देवी कहलथिन कि हमरा त कोइ सहारा भी न हई। पति के मरला भी दस साल हो गेलई। लेकिन सरकारी राषन न मिलईय। उहे के गोनउर राम, फेकन राम, इन्दु देवी कहलथिन कि हमरा सब के दु चार बच्चा भी हई, जे सब नादान ही हई। हमसब गरीब मजदुर छी । दोसर के ट्रेक्टर पर माटी काट के कमाई छी। ओही से घर परिवार चलवई ले। अगर राषन मिलइत त उ खइती अउर कुछ मजदुरी में से बचा के रूपईया रखती।
प्रखण्ड आपुर्ति कार्यालाय के पदाधिकारी मंजय कुमार कहलथिन कि लगभग चार हजार लोग के सुचि में नाम हई। लेकिन कार्ड अभी बन के न आयल हई। जिला आपुर्ति कार्यालय के पदाधिकारी षैलेन्द्र कुमार कहलथिन कि उनका सब के नाम से कार्ड न बनल हई त राषन न मिलतई। कार्ड बने के लेल आपत्ति फाॅर्म भरायल हई।
गरीब के कोन सुनतई
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