जिला सीतामढ़ी, प्रखण्ड डुमरा, पंचायत परोहा, गांव रामपुर। उहां के कृष्ण कुमार पुरे शरीर से विकलांग छथिन। जिनकर उम्र बाइस साल हो गेल हई। लेकिन बी.पी.एल. में नाम न हई। जेई कारण उनका कोनो सुविधा न मिल रहल हई।
उहां के लोग कहलथिन कि इ लड़का के अपना से कुछो न होई छई। दिन भर दुरे पर बइठल रहई छई। पैर हाथ से घुसकइत रहई छथिन। रामनन्दन राय कहलथिन कि हमरा इहे एगो बेटा हय उहो कोनो काम के न हई। जब इ दु साल के रहई त सिधे धुसकई एकरा बाद हम कहां कहा इलाज करइली मगर न ठीक भेलक। अब विकलांग पेंसन तीन सौ के महिना मिलइय। न राशन मिलइ छइ न मिटटी तेल घर त नहीये हय न इंदिराआवास। जब कि सरकार गरीब के लेले सब सुविधा देइ छथिन। लेकिन न हमरा, न बेटा के कोनो सुविधा न मिल रहल हय एक त गरीब दोसर में बी.पी.एल. स्कोर दस कर देले छथिन। पता न कब सुधार होतई।
मुखिया अरूण राम कहलथिन कि ट्राईसाईकिल उनका मिलल हई। लेकिन अउर दोसर सुविधा जब बी.पी.एल. में नाम जोरा जतई तब मिलतई।
कब मिलतइ विकलांग के सुविधा
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