उत्तर प्रदेश में विधायकों और सांसदों के खिलाफ चल रहे आपराधिक मामलों की सुनवाई के लिए इलाहाबाद में जल्द ही स्पेशल फास्ट ट्रैक कोर्ट बनाई जाएगी।
इस कोर्ट का गठन सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद हो रहा है, जिसके तहत हर राज्य में इस तरह की स्पेशल फास्ट ट्रैक अदालतें बनाई जानी हैं।
विधि विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि विभाग ने इससे संबंधित जरूरी आदेश जारी कर दिए हैं। अब मामला हाई कोर्ट के पास है। उम्मीद है कि यह स्पेशल कोर्ट 15 जुलाई से शुरू हो जाएगी। उन्होंने बताया कि स्पेशल कोर्ट बनाए जाने का उद्देश्य यह है कि यहां विधायकों और सांसदों पर दर्ज मुकदमों की सुनवाई होगी। इन अदालतों में सुनवाई के बाद उनपर लगे मामलों का जो फैसला होगा, उसी आधार पर वे चुनाव लड़ सकेंगे।
सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में आदेश दिया था कि राज्यों में स्पेशल फास्ट ट्रैक कोर्ट बनाए जाएं। इन अदालतों में सुनवाई करके 1 मार्च 2018 तक विधायकों और सांसदों पर लगे केस निपटाए जाएं। यह सिंगल कोर्ट होगी, जिसमें सात स्टाफ और एक जज होंगे। इसमें जज एडीजे रैंक के होंगे जो हायर जुडिशल सर्विस से होंगे।