दिल्ली के एम्स ट्रॉमा सेंटर में कोरोना का इलाज करा रहे 37 वर्षीय पत्रकार तरुण सिसोदिया ने 6 जून को अस्पताल के चौथी मंजिल से कूदकर आत्महत्या कर ली, पत्रकार एक हिंदी दैनिक अखबार में काम करता था। पत्रकार अपनी पत्नी और दो बच्चों के साथ भजनपुरा में रहते थे।
पत्रकार के ब्रेन ट्यूमर का ऑपरेशन हुआ था
न्यूज़ रिपोर्ट के अनुसार तरुण रिपोर्टिंग के दौरान कोरोना पॉजिटिव होने के बाद 24 जून को इलाज के लिए एम्स ट्रामा सेंटर में एडमिट हुए थे और बाद में ‘हाई डिपेंडेंसी यूनिट’ में भेज दिया गया था.” डॉक्टर ने कहा कि हाल ही में उनकी ब्रेन ट्यूमर की सर्जरी हुई थी।
अस्पताल के बयान में कहा गया कि ट्रॉमा सेंटर में इलाज के दौरान उन्हें (तरुण) मानसिक दौरे आते थे जिस पर न्यूरोलॉजिस्ट और मनोचिकित्सक ने उनका चेकअप कर दवा दी थी। परिवार के सदस्यों को उनकी हालत के बारे में लगातार जानकारी दी जाती थी।
6 जून करीब 1:55 बजे पर वह टीसी-1 से बाहर भागे, जहां वह भर्ती थे. अस्पताल के कर्मचारी उनके पीछे भागे और उसे रोकने की कोशिश की. वह चौथी मंजिल पर चले गए और वहां एक खिड़की का शीशा तोड़ नीचे छलांग लगा दी।’ इसमें यह भी कहा गया है कि पत्रकार को तत्काल एक एंबुलेंस से ट्रॉमा सेंटर के आईसीयू ले जाया गया. उन्हें बचाने की कोशिश की गई, लेकिन दुर्भाग्य से दिन में 3:35 बजे उनकी मौत हो गई।
अखबारों का दावा डॉक्टर कर रहें थे लापरवाही
भड़ास एडिटर में छपी खबर के अनुसार कहा जा रहा है कि तरुण दोहरे डिप्रेशन में आ गए थे. उन्हें कोरोना तो हुआ ही, दैनिक भास्कर से छंटनी की आशंका थी। दैनिक भास्कर प्रबंधन तेजी से अपने कर्मियों की नौकरियां ले रहा है। तरुण सिसोदिया का भी नंबर आने वाला था।
वह इन पूरे हालात से बेहद घबड़ा गए और तनाव व डिप्रेशन की हद पार कर गए। तरुण को हालांकि नौकरी से अभी निकाला नहीं गया था, लेकिन उसे लग रहा था कि शायद निकाल देंगे। इसी टेंशन में शायद उसने सुसाइड के लिए छत से कूदने जैसा कदम उठाया है।
ऑपइंडिया में छपी खबर के अनुसार तरुण सिसोदिया ने पिछले कुछ दिनों में कोरोना वायरस से होने वाली मौतों को लेकर ही रिपोर्टिंग की थी। उन्होंने ही बताया था कि दिल्ली सरकार कह रही है कि अब तक 982 मौत कोरोना से हुई है, जबकि 1500 से ज्यादा डेडबॉडी का अंतिम संस्कार श्मशान और कब्रिस्तानों में हो चुका है। उन्होंने प्राइवेट अस्पतालों के खिलाफ भी सोशल मीडिया में कुछ ट्वीट्स का समर्थन किया था।
दिल्ली सरकार कह रही है कि अब तक 982 मौत कोरोना से हुई हैं, जबकि 1500 से ज्यादा डेडबॉडी का अंतिम संस्कार श्मशान और कब्रिस्तानों में हो चुका है। अभी भी सरकार मौत पर झूठ ही बोल रही है। @KapilMishra_IND#COVID__19 pic.twitter.com/mmWBuTZdNL
— तरुण सिसोदिया (@tarunsisodiaN18) June 10, 2020
हिंदुस्तान की रिपोर्ट के अनुसार, कुछ साल पहले ही उनकी शादी हुई थी. उनकी दो बेटियां भी हैं| एक की उम्र दो साल है जबकि दूसरी बच्ची अभी मात्र कुछ ही महीने की है।
मेरे जिगर का टुकड़ा बेटी सुहानी के लिए एक खिलौना और आया है। 9 अप्रैल, 2020 को दूसरी बेटी का जन्म हुआ आई। रो शब्द ने नाम रखना है कोई अच्छा सा नाम सुझाएं। pic.twitter.com/jWqc3hpuKT
— तरुण सिसोदिया (@tarunsisodiaN18) April 20, 2020
ऑपइंडिया में छपी खबर के अनुसार तरुण ने अपने दोस्तों को बताया था कि मुझे बचा लो वार्ना मेरा मर्डर हो सकता है।साथ ही एम्स की कार्यप्रणाली पर भी सवाल खड़े करते हुए । डॉक्टर किसी को कोई भी इंजेक्शन दे रहे हैं।वहाँ जिस तरह से मरीजों को ट्रीट किया जा रहा था, उससे वो नाराज़ थे।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने एम्स निदेशक को तुरंत आधिकारिक जांच करने का आदेश दिया
इस मामले में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने एम्स निदेशक को तुरंत आधिकारिक जांच करने का आदेश दिया है। साथ ही एक उच्च-स्तरीय कमेटी गठित कर 48 घंटे में रिपोर्ट मांगी है. इस जांच समिति में चीफ ऑफ न्यूरोसाइंस सेंटर से प्रोफेसर पद्मा, मनोचिकित्सा विभाग के हेड आरके चड्ढा, डिप्टी डायरेक्टर (एडमिन) डॉक्टर पांडा और डॉ यू सिंह शामिल हैं।
तरुण के निधन पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने ट्वीट कर कहा है, ‘युवा पत्रकार तरुण की मौत पर दुखी हूं। यह बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण घटना है।अपने दुख को साझा करने के लिए मेरे पास शब्द नहीं हैं. उनके परिवार खासकर उनकी पत्नी और बच्चों के प्रति शोक संवेदनाएं।
Deeply shocked & saddened by the death of young journalist Shri Tarun Sisodia ji.
It was a most unfortunate incident. I have no words to express my grief.
My condolences to his whole family,esp his wife & young children
May God give them the strength to bear this irreparable loss pic.twitter.com/nAUb0ky0AO— Dr Harsh Vardhan (@drharshvardhan) July 6, 2020
चांदनी चौक की पूर्व विधायक अल्का लाम्बा ने ट्वीट कर कहा ”बेहद दुःखद, दैनिक भास्कर के पत्रकार तरुण सिसौदिया ने AIIMS की 4th मंज़िल से कूदकर आत्महत्या कर ली, तरुण कोरोना पॉजिटिव थे, लगभग एक महीने पहले उन्हें नौकरी से भी निकाल दिया गया था। 10 जून को तरुण ने किया था अंतिम ट्वीट।
बेहद दुःखद, @tarunsisodiaN18 दैनिक भास्कर के पत्रकार तरुण सिसौदिया ने AIIMS की 4th मंज़िल से कूदकर आत्महत्या कर ली,
तरुण कोरोना पॉजिटिव थे,
लगभग एक महीने पहले उन्हें नौकरी से भी निकाल दिया गया था.
10 जून को तरुण ने किया था अंतिम ट्वीट.#RIP#Delhi #Covid_19 pic.twitter.com/2u2FgFvW5s— Alka Lamba – अल्का लाम्बा ???????????? (@LambaAlka) July 6, 2020
इस घटना को सीधे मानसिक स्वास्थ्य या तरुण की मानसिक स्थिति के ऊपर दर्शाया जा रहा है लेकिन कुछ सवाल है को अभी खटक रहे हैं।ऐसी क्या बात हो गई थी जो तरुण ने अपने दोस्तों को बोला कि मुझे बचा लो वार्ना मेरा मर्डर हो सकता है?तरुण की मानसिक स्थिति ठीक नहीं थी तो उसे कड़ी निगरानी में क्यों नहीं रखा गया था?एक कोरोना मरीज़ आईसीयू से निकल गया और चौथी मंजिल से छलांग लगा दी|
अपनी रिपोर्ट में एम्स कह रहा है कि उसके पीछे सुरक्षा कर्मी दौड़े, क्या एम्स, आईसीयू से लेकर बाहर तक का सीसीटीवी फुटेज शेयर करेगा?तरुण सुसाइड के खिलाफ थे, उन्होंने इस पर एक हिंदी अखबार में लेख भी लिखा था। तो ऐसा इंसान खुद आत्म हत्या कैसे कर सकता है ?