कच्चे टूटे-फूटे मकान में प्लास्टिक की चादर बिछाकर कुछ गरीब परिवार अपनी जिंदगी गुजर बसर कर रहे हैं। गरीबी की जिंदगी गुजर बसर करने वाले इन परिवारों ने सबों से गुहार लगाई लेकिन सिर्फ आश्वासन ही मिला।
हमीरपुर जिले के मौदहा ब्लॉक के अंतर्गत रीवन गांव के ग्रामीण छप्पर के नीचे गुजारा कर रहे हैं। इतनी भीषण गर्मी में पॉलिथीन की उमस ने लोगों का जीना मुश्किल कर दिया है। लोगों का आरोप है कि प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत जो पैसा गरीब परिवार के लोगों को दिया जाता है घर बनवाने के लिए उसका अभी तक उन्हें कोई भी लाभ नहीं मिल पाया है। ऑनलाइन करवाने में उनके काफी पैसे खर्च हुए हैं।
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मेहनत मजदूरी कर अपना घर परिवार चलाएं या घर बनाएं यह उनके सामने बड़ी चुनौती है इसलिए एक एक घर में कई-कई परिवार रहते हैं। प्रधान द्वारा आश्वासन दिया जाता है ।लेकिन आवास नहीं।
रीवन गांव के सचिव गिरीश कुमार पटेल ने बताया कि 16 कॉलोनियां आई थी जो पात्र थे उनको दे दिया गया है। अभी भी तो ढाई सौ व्यक्तियों की लिस्ट है जिनको कॉलोनी नहीं मिली है अभी नए सिरे से जो फॉर्म भरे जाएंगे जो पात्र होंगे उनको मिलेगा।
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