1 नवम्बर की दोपहर को उत्तर प्रदेश के रायबरेली में अब तक का सबसे भयानक थर्मल पावर प्लांट हादसा हुआ। इसमें 100 से ज्यादा लोग जख्मी हो गए और देर रात तक मरने वालों की संख्या 25 तक पहुंच गई। घायलों को रायबरेली, लखनऊ और इलाहाबाद के अस्पतालों में भर्ती कराया गया है।
हादसा रायबरेली में राष्ट्रीय थर्मल पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (एनटीपीसी) के ऊंचाहार पावर प्लांट में हुआ। हादसे की वजह पाइप पर दबाव का बढ़ना बताया गया है।
बताया जा रहा है कि एनटीपीसी का 500 मेगावॉट का छठा नया प्लांट 200 मेगावॉट के लोड के साथ चल रहा था। दोपहर बाद करीब साढ़े तीन बजे भट्टी से जुड़ी पाइप पर दबाव बढ़ने से भट्टी में धमाका हो गया। धमाका इतना जबरदस्त था कि इसकी गूंज 4 किलोमीटर तक सुनी गई। इससे पूरे प्लांट में अफरातफरी मच गई। कुछ मजदूर पाइपों में फंस गए। एनटीपीसी की के इस समूह में 1500 से ज्यादा लोग काम करते हैं।
हादसा इतना भयानक था कि 90 फीट ऊँची भट्टी से कोयले की राख लावा की तरह मजदूरों पर गिर रही थी। पूरा समूह भांप और धुएं से भर गया था। हादसे के वक्त प्लांट में करीब 150 मजदूर काम कर रहे थे।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने हादसे में शिकार हुए लोगों के लिए मुआवज़े का ऐलान किया है। मृतकों के परिजनों को ₹2,00,000, गंभीर रूप से घायलों को ₹50,000, और घायलों को ₹25,000 के मुआवज़े का ऐलान किया है।