मुजफ्फरपुर बालिका गृह की तरह ही देवरिया के नारी संरक्षण गृह में भी देह व्यापार कराए जाने के आरोप लग रहे हैं।
दरअसल, संरक्षण गृह से भागी एक लड़की ने पुलिस को यह जानकारी दी तो हड़कंप मच गया। पुलिस ने रात में ही संरक्षण गृह पर छापा मारा तो 42 में से 18 लड़कियां गायब मिलीं। पुलिस ने 24 लड़कियों को मुक्त कराते हुए संचालिका और उसके पति को गिरफ्तार कर लिया है।
बता दें, मां विंध्यवासिनी महिला एवं बालिका संरक्षण गृह नाम के एनजीओ की सूची में 42 लड़कियों के नाम दर्ज हैं, लेकिन छापे में मौके पर केवल 24 मिलीं। बाकी 18 लड़कियों का पता लगाया जा रहा है। नारी संरक्षण गृह के बारे में लंबे समय से शिकायत मिल रही थी।
अनियमितताओं के कारण इसकी मान्यता जून-2017 में समाप्त कर दी गई थी। सीबीआई ने भी संरक्षण गृह को अनियमितताओं में चिह्नित कर रखा है। संचालिका हाईकोर्ट से स्थगनादेश लेकर इसे चला रही है।
एसपी ने बताया कि बिहार के बेतिया जिले की 10 साल की बच्ची देर शाम किसी तरह संरक्षण गृह से निकलकर महिला थाने पहुंची। वहां उसने संरक्षण गृह की अनियमितताओं के बारे में जानकारी दी। बच्ची के मुताबिक, वहां शाम चार बजे के बाद रोजाना कई लोग काले और सफेद रंग की कारों से आते थे और मैडम के साथ लड़कियों को लेकर जाते थे, वे देर रात रोते हुए लौटती थीं। संरक्षण गृह में भी गलत काम होता है।
मामला सामने आने के बाद डीजीपी ओपी सिंह ने कहा कि अवैध संरक्षण गृह की सूचना के बाद पुलिस ने छापा मारकर 24 लड़कियों को मुक्त कराया है। एसपी देवरिया को दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं।