बेंगलूरू के रहने वाले 25 साल के जी . बालाकृष्ण को हाल ही में फिलिपीनस में हुए 5वें फिल- एशिया बॉडीगार्ड प्रतियोगिता में मिस्टर एशिया 2016 का खिताब मिला है। बचपन में बालाकृष्ण ने अपने पिता की मौत के बाद एक दशक तक बहुत कठिन समय देखा।
इस खिताब को जीते के बाद बालाकृष्ण ने कहा , मैं इस जीत से खुश हूं और मुझे आगे भी वित्तीय सहयोग मिले तो मैं इसे दोहराने की पूरी कोशिश करुंगा। मेरी ये जीत मेरी मां परवथममा और भाई राजेश की देन है, जिन्होंने मुझे हमेशा सहारा दिया।
उन्होंने 2013 में जर्मनी में हुए मिस्टर यूनिवर्स अंडर 24 और इस ही खिताब के लिए विश्व प्रतियोगिता 2014 एथेंस में भी जीत हासिल की थी। बालाकृष्ण का घर रामगोंदनहल्लीए वरथुर में है। वह रोज अपने घर में छह घण्ड़े प्रेक्टिस करते हैं। उन्हें अपनी ट्रेनिंग संग्राम चौगला और मनीष कुमार से ली है।
वह अपने खानपान के बारे में बताते हैं, इस शारीरिक बनावट के लिए मैं 750 ग्राम चिकिन, 25 अंडे, 300 ग्राम चावल, 200 ग्राम सब्जियां के साथ मछली और फल लेता हूं। 120 किलो के बालाकृष्ण प्रतियोगिता के दौरान अपना वजन 90 किलो तक कम कर लेते हैं।
उन्हें शुरूआत की इण्टरनेशनल प्रतियोगिता में धन की मदद उनके घर के आस-पास के लोगों ने की थी पर अभी उन्हें इन प्रतियोगिताओं में भाग लेने के लिए धन कोशी वर्गीज नाम के एक व्यापारी कर रहे हैं। उन्होंने 2010 से पानी के ट्रेंकर का काम एक विकल्प के रुप में शुरु किया। वह एक जिम में भी काम करते हैं।
पैसे की कमी से जूझ रहे बाला कहते हैं, ‘चैंपियनशिप जीतने के बावजूद मेरी चिंता हमेशा पैसों को लेकर रहेगी। सरकारी सहायता के अभाव में देश से बाहर होने वाले चैंपियनशिप में हिस्सा लेना मेरे लिए अभी भी मुश्किल है।’