न्यूजीलैंड में भले ही जेसिंडा एडर्न की पहचान बतौर प्रधानमंत्री की हो, लेकिन दुनिया उन्हें उस दूसरी महिला के दौर पर जानती है जिसने राष्ट्र के शीर्ष पद पर रहते हुए मातृत्व अवकाश लिया हो।
ऐसी पहली महिला होने का रिकॉर्ड पाकिस्तान की पूर्व प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो के नाम रहा है।
इससे पहले, न्यूजीलैंड की सबसे युवा प्रधानमंत्री जेसिंडा (37) प्रसव के बाद छह हफ्ते की छुट्टी पर गई थीं। प्रधानमंत्री बनने से छह दिन पहले ही जेसिंडा को अपने गर्भवती होने की जानकारी हुई थी। उन्होंने गर्भावस्था के आखिरी दिनों में भी काम किया। इस दौरान जनता ने उनका पूरा सहयोग किया। न्यूजीलैंड विश्व के सबसे प्रगतिशील देशों में शामिल है। 1893 में ही यहां की महिलाओं को मतदान का हक मिल गया था। जेसिंडा देश की तीसरी महिला प्रधानमंत्री हैं। उनकी अनुपस्थिति में उप प्रधानमंत्री विंस्टन पीटर्स कार्यवाहक प्रधानमंत्री होंगे।
लेकिन अब मातृत्व अवकाश के बाद एडर्न अब संसद जाती हैं। बहसों में हिस्सा लेती हैं। देश के विकास से जुड़ा हर काम कर रही है, साथ ही अपनी बच्ची की देखरेख में भी कोई कसर नहीं छोड़ रही हैं। उनकी बच्ची की हर सुविधा संसद के परिसर में तैयार की गई है।
महिला सशक्तीकरण की वे पहले ही मिसाल बन चुकी हैं, लेकिन उनका यह बयान भविष्य की कहानी भी कह देता है।
वे कहती हैं कि मैं शायद ऐसा कुछ करने वाली अभी पहली महिला रही हूं जो काम आमतौर पर न किया जाता हो, लेकिन वह दिन दूर नहीं जब यह एक सामान्य बात होगी।