जिला झांसी, शहर झांसी की लक्ष्मी को संघर्ष अबे भी चल रओ। 3 नवम्बर को लक्ष्मी के पति ओमप्रकाश ने लक्ष्मी को बुरी तरा से मारो और जो केस लक्ष्मी के लाने पहलों नइ हतो। ओम प्रकाश पहले भी केऊ बार लक्ष्मी के संगे एसे कांड कर चुको।
लक्ष्मी ओमप्रकाश की मारपीट से परेशान होके झांसी आ गई अपने मायके और झांसी में रहन लगी। और जब लक्ष्मी ने ओमप्रकश के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज करी तो इते कोतवाली पुलिस ने मामूली धारा 323 और 325 लगा के रिपोर्ट लिखी। लेकिन ओमप्रकाश की अबे तक गिरफ्तारी नइ भई। ओमप्रकाश कानपुर की बिरहर चौकी में कांस्टेबल के पद पे काम करत जासे लक्ष्मी को कबो हे के पुलिस कोनऊ कारवाही नइ कर रइ। लक्ष्मी ने केऊ अधिकारियन से मिलबे की कोशिश करी और अधिकारियन को रजिस्ट्री भी करी लेकिन कोनऊ कारवाही नइ भई। लक्ष्मी ने कोर्ट को सहारो भी लओ लेकिन लक्ष्मी के पति ने वकील को जान से मारबे की धमकी दई।
झांसी के एस पी मनोज तिवारी ने कइ के सूचना मिलबे पे कारवाही करी जेहे। और आगे जानकारी देबे से मना कर दई।
कानपुर जिला के आई जी जकीर अहमद ने कई के हमे जानकारी नइया अगर लक्ष्मी दुबारा उते जाए तो उन ने सी ओ से बात करके कारवाही करबे की बात कई।
लक्ष्मी ने बताई के जब हम ससुराल जात ते और अपने सास ससुर से भी कत ते लेकिन उने कछु फरक नइ परत तो बाके अन्दर कोनऊ दया नाम की चीजइ नइया। इतनो बुरो आदमी हे कछु भी बोलत उलटो सीधो जो मन में आ जात। हमे इतनो बदनाम कर दओ अगर हमाओ खुद को घर नइ होतो तो हमे कोऊ किराए से भी नइ राखतो।
हमने सात फाइलें जमा करी लेकिन कछु कारवाही नइ भई। एक कानपुर आई जी को दूसरी कानपुर एस एस पी और एक झांसी एस एस पी झांसी डी आई जी और झांसी कोतवाली और दो जघा हमाय बाप ने दई तो हमे बाको पतों नइया। दो दो बार हमाय बाप ने रजिस्ट्री भी करी लेकिन कछु नइ भओ कितऊ से।
बस कोर्ट से ही एक सहारो हे पुराने वकील ने फाइल लेबे से मना कर दई। बो कह रओ के हमे धमकी मिल रइ। अब कोऊ न कोऊ तो लड़ हे झांसी में कोऊ तो एसो निडर और इमानदार हुए जो हमाओ केस लडे। लेकिन हम पीछे नई हटे कितने को खरीदे बो कितने को धमकी देहे। हमाय मोड़ी मोड़न पे इतनो बुरो असर पर रओ।
हम सब से जोई केहे के हमाय जेसी गलती न करबे कोई जेसी हमने करी। और कोनऊ भी काम में पीछे नइ हटे न कोनऊ गलत आदमी के सामने कबहु झुकबे।
रिपोर्टर- सुनीता, सफीना और सोनी
29/12/2016 को प्रकाशित