जर्मनी में, जर्मन राष्ट्रगान से “पितृभूमि” शब्द को हटाने के लिए विरोध का सामना करना पड़ रहा है।
कुछ नारीवादियों ने इस शब्द को हटाने की मांग की है, उनका कहना है कि यह सेक्सिस्ट(लैंगिकवादी) है।
जर्मन प्रेस को मिले एक पत्र में लिखा गया है कि सरकार राष्ट्र गान से इस शब्द हो हटा कर लिंग समानता की बात करें।पत्र लिखने वाली क्रिस्टिन रोज का कहना है कि “पितृभूमि” शब्द को “मातृभूमि” शब्द से बदल दिया जाए, और “भाई” शब्द को “साहसी” के रूप में बदल कर इसे सभी के लिए समान बना दिया जाये।
लेकिन जर्मन राष्ट्रीय गान को इतनी जल्दी बदल पाना सम्भव नहीं है।
इसका मूल शब्द 1841 में कवि अगस्त हाइनरिक हॉफमैन द्वारा लिखा गया था, लेकिन 1945 के बाद से जब तीसरी कविता उन्होंने लिखी तब इसे राष्ट्रगान की तरह शामिल किया गया।
यह “जर्मन महिलाएं, जर्मन वफादारी, जर्मन वाइन और जर्मन गीत” से शुरू होता है और इसमें जर्मन शराब और महिलाओं की प्रशंसा को गाया जाता है।
इसमें से जो कविता का हिस्सा विवादित नहीं रहा वो था, “एकता और न्याय और जर्मन पितृभूमि के लिए स्वतंत्रता” जो कि एक अनौपचारिक जर्मन आदर्श वाक्य है।
जर्मनी कोई पहला देश नहीं है जो अपने राष्ट्रगान को लिंग असमानता के लिए दोषी ठहरता है।
इस साल के शुरू में ही कनाडा के सीनेट ने ओ कनाडा के शब्दों को “अपने सभी बेटों के आदर्शों में देशभक्ति प्रेम” से “हम सब कमांड” में बदलने के लिए कहा गया।
कैनेडियन प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रुडो ने इस कदम को “समानता का एक महत्वपूर्ण संकेत” बताया था।
जर्मन राष्ट्रगान पर नारीवादियों ने लगाया लिंग असमानता का आरोप
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