बुंदेलखंड मा तीन साल से किसान सूखा अउर मंहगाई के मार झेलत हवै। यहिसे बुंदेलखंड का किसान दस हालत बहुतै ख़राब हवै।
बुंदेलखंड के चित्रकूट,बाँदा अउर महोबा जिला मा एक साल से सैकड़न किसान आत्म हत्या करै का मजबूर होइगे हवै। सरकार कइसी से उनके परिवार का अबे तक मुआवजा नही मिला आय। कुछ यहिनतान का मामला अबैै हाल का बाँदा जिला के बिसंडा ब्लाक के मोतीलाल प्रजापति साथै भा हवै। काहे से कि मोती लाल एक बटाई दार किसान रहै। वहिके के ऊपर कर्जा अउर एक लड़की के शादी करै खातिर चिंता बनी रहत रही हवै । वहिसे से या चिंता सही न गे तौ 14 जुलाई का रस्सी मा झूल के फांसी लगा लििहस अउर आपन जान दइ दििहस ।
इनतान के या घटना पहिली दरकी नहीं भे आय। अब या बात से पता लागत हवै के केंद्र सरकार होय या उत्तर प्रदेश सरकार वहिका किसान के समस्या का खतम करै खातिर कउनौ चिंता नहीं आय। सरकार कबै तक मा किसानन के समस्या का ख़तम करी नहीं तौ अगर किसानन समस्या बनी रही तौ आम जनता कत्तौ खुश नहीं रही सकत आय। काहे से कि जउन सरकार किसानन का मुआवजा भी देत हवै। व न के बराबर हवै दूसर बात किसान सरकार से परेशान हवै।
किसान हमेशा रहत परेशान
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