जिला महोबा, ब्लाक पनवाड़ी, गांव परापातर। यहां आंगनवाड़ी केन्द्र है न जच्चा-बच्चा केन्द्र है। आंगनवाड़ी कुसुमरानी अपना केन्द्र और ए.एन.एम. विनोद कुमारी टीकाकरण गांव के पंचायत भवन में चलाती हैं।
जब औरतें टीका लगवाने आती हैं तो कोई सीटी बजाता है तो कोई कुछ बोलता है। नतीजन, ज़्यादातर औरतें टीका लगवाने नहीं आतीं।
प्रधान दृगपाल ने एक साल पहले केन्द्र बनवाने के लिए प्रस्ताव भेजा था पर अभी तक कोई जवाब नहीं आया।
जैसे तैसे चल रही आंगनवाड़ी
जिला वाराणसी, ब्लाक चिरईगांव, गांव गोइठहा। यहां के आंगनवाड़ी केन्द्र पर वज़न करने वाली मशीन नहीं है। भूूसा तौलने वाली मशीन पर बच्चों का वज़न होता है। रेशमा, गुड़िया और प्रमिला का कहना है कि हम लोगांे को नहीं पता कि मेरा नाम आंगनवाड़ी में है और ना ही हमें पंजीरी मिलती है। गर्भवती महिला ममता का कहना है कि सात महीने में दो बार पंजीरी हमें मिली है।