जिला शाहजहांपुर, थाना खुटार मोहल्ला कोट। यहां के पत्रकार जगेंद्र सिंह को 1 जून को जलाकर मार दिया गया। परिवार वालों के अनुसार और मरते वक्त दिए गए पत्रकार के बयानों से साफ है कि हत्या समाजवादी पार्टी के नेता राममूर्ति वर्मा ने करवाई है।
जलाने वाले पुलिस के ही लोग थे। इसलिए पांच पुलिसवालों को निलंबित तो कर दिया गया मगर नेता के ऊपर कोई कार्रवाई नहीं हुई। हालांकि 14 जून को उत्तर प्रदेश के राज्यपाल ने फोन कर परिवार से मिलने की बात कही है। उन्होंने न्याय दिलाने का भरोसा भी दिया है। 5 जून से कई पत्रकार और स्वयंसेवी संस्था के लोग धरने पर हैं। 13 जून से अब पत्रकार का परिवार भी धरने पर है। परिवार वालों और आस पास के लोगों ने बताया कि जगेंद्र राममूर्ति वर्मा के काले कारनामों के खिलाफ लगातार लिख रहा था। इस कारण राममूर्ति वर्मा ने पुलिस से मिलकर उस पर कई झूठे केस दर्ज करा दिए।
जगेंद्र के परिवार वालों ने बताया कि समाजवादी पार्टी के नेता मिथिलेश कुमार ने घर आकर केस वापस लेने का दबाव उन पर डाला है। उसने पूरे परिवार के सामने कहा कि तुम मंत्री को गिरफ्तार नहीं करवा सकते। जगेंद्र के बेटे राहुल ने बताया कि चेयरमैन ने कहा कि तुम केस वापस ले लो। परिवार को दस लाख रुपए मिलेंगे और तुम्हें ग्राम पंचायत में पक्की नौकरी। हमें हर दूसरे दिन फोन आता है कि केस वापस ले लो। कोई धमकी देता है तो कोई लालच।
पत्रकार को न्याय दिलाने के लिए धरने पर बैठे कई पत्रकारों ने कहा कि क्या मरते हुए व्यक्ति के बयान सुबूत नहीं होते। जगेंद्र के बयान पर नेता के खिलाफ क्यों कार्रवाई नहीं हो रही? परिवार और धरने पर बैठे लोगों की मांग है कि इसमें सी.बी.आई. जांच हो। मगर उत्तर प्रदेश सरकार के वकील इसका विरोध कर रहे हैं। उधर मुख्यमंत्री ने 16 जून को एक भाषण में कहा कि पत्रकार के परिवार को न्याय जूरूर मिलेगा। मगर इस मामले में सरकार की सुस्ती तो कुछ और ही कह रही है।