कभी स्कूल न जाने वाले ओडिशा के जालंधर नायक ने अपने तीनों बेटों को शिक्षा दिलाने के लिए लगातार दो साल तक दिन-रात एक करके अकेले पहाड़ काटकर 8 किलोमीटर की सड़क बना डाली। ओड़िशा के कंधमाल जिले में फुलबनी शहर के मुख्य मार्ग से अपने गुमाशी गांव को जोड़ने के लिए 15 किलोमीटर लंबी सड़क के निर्माण के प्रयास में लगे जालंधर नायक, अकेले ही पहाड़ की चट्टानों को हटा रहे हैं और रोजाना आठ घंटे जी-तोड़ मेहनत कर रहे हैं।
जिला प्रशासन ने अब नायक को मनरेगा योजना के तहत भुगतान कर उसे सम्मानित करने और उसके प्रयासों में सहयोग करने का निर्णय लिया है। पिछले दो साल में पहाड़ से आठ किलोमीटर तक सड़क बना चुके हैं और उनकी अगले तीन साल में और सात
किलोमीटर तक इस रास्ते का विस्तार करने की योजना है। 45 वर्षीय नायक ने बताया कि उनके तीन बच्चों को पहाड़ पार कर शहर के स्कूल जाने में हो रही दिक्कत ने उन्हें छेनी और हथौड़ा पकड़ने की प्रेरणा दी। स्थानीय अखबार में उनके बारे में खबर पढ़कर जिलाधिकारी द्वारा अपने कार्यालय में बुलाये जाने के बाद वह सुर्खियों में आ गये। हैरानी की बात यह है कि नायक और उनके परिवार के लोग ही गांव बचे रह गये हैं। अन्य लोग उपयुक्त सड़क एवं अन्य सुविधाओं के अभाव के चलते गांव से जा चुके हैं।