भारत की पहली महिला मुख्यमंत्री, सुचेता कृपलानी, का जन्म 25 जून 1908 को अम्बाला में हुआ था। दिल्ली के इन्द्रप्रस्थ कॉलेज और बाद में पंजाब विश्वविद्यालय से पढ़ीं कृपलानी, आगे जाकर बनारस हिन्दू विश्विद्यालय में संवैधानिक इतिहास की प्राध्यापक बनीं।
उन्होंने भारत की आजादी के आन्दोलन में भाग लिया था, और बाद में भारत के बंटवारे के दौरान हुए दंगों में महात्मा गाँधी के साथ काम भी किया था। वो उन महिलाओं में से थीं जिनको संविधान सभा के लिए चुना गया था। साथ ही साथ वो उस उपसमिति का हिस्सा थीं जिसने भारत के संविधान को बनाया था।
1960-63 तक वो उत्तर प्रदेश विधान सभा में श्रम, सामुदायिक विकास और उद्योग की मंत्री थीं। अक्टूबर 1963 में वो उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री बनीं।
सुचेता कृपलानी के बाद उत्तर प्रदेश में महिला मुख्यमंत्री मायावती बनी थीं। उत्तर प्रदेश विधान सभा में केवल 8% महिला मंत्री हैं। विश्व बैंक के मुताबिक 1996 से 2010 तक, भारत के केन्द्रीय संसद में केवल 11% महिलाएँ थीं। 2011 के बाद ये अब 12% हैं, पर फासला अभी भी काफ़ी है। संसद ने अभी तक महिलाओं के लिए 33% आरक्षण लागू नहीं किया है।